० कुंभ कल्प मेला के अंतिम दिन रही लाखों की संख्या में भीड़
राजिम। 24 फरवरी माघ पूर्णिमा से शुरू हुए राजिम कुंभ कल्प मेला के अंतिम दिन शुक्रवार को महाशिवरात्रि के पावन अवसर पर लाखों की संख्या में श्रद्धालुओं-दर्शनार्थियों की भीड़ जुटी। पूरे मेला क्षेत्र के चारों तरफ दर्शनार्थियों की रेलमपेल भीड़ रही। श्रद्धालु ब्रम्ह मुहूर्त में पुण्य स्नान कर नदी में दीपदान प्रवाहित किया। पश्चात श्री राजीव लोचन एवं श्री कुलेश्वरनाथ महादेव, बाबा गरीबनाथ के दर्शन करने पहुंचे। दर्शन के बाद श्रद्धालु मेला क्षेत्र के विभिन्न स्थानों में परिवार, मित्रों के साथ घूमते हुए दिखाई दिए। मसलन संत समागम स्थल, झांकियां, विभिन्न स्टॉलों, शासकीय प्रदर्शनी, मीना बाजार आदि स्थानों में श्रद्धालु की भीड़ ही दिखाई दी। यह भीड़ गुरूवार की रात से जुटती गई, जो शुक्रवार महाशिवरात्रि की देर रात तक रही। दुकानदारों के लिए भी महाशिवरात्रि के दिन बहुत ही अच्छा साबित हुआ। मेला में सजी सभी दुकानों में खरीददारों की भीड़ नजर आयी। खासतौर से झुला, मौत कुंआ, भेलपुरी, चार्ट कार्नर, आईसक्रीम, गन्ना रस, क्राप्ट, दुकान जैसे रोड किनारे लगी सभी दुकाने भारी भीड़ रही। मेले का मुख्य आकर्षण दिन में मीना बाजार और शाम में महोत्सव स्थल में होने वाले सांस्कृतिक कार्यक्रम बना था।
संत समागम स्थल में बड़े-बड़े पंडाल बनाये गये है, संत समागम स्थल के ठीक बाजु में नागा बाबाओं का कैम्पस बनाया गया है यहां धुनि रमाय दर्जनों साधु संत उपस्थित है, जिनका भी दर्शन कर श्रद्धालुओं ने आशीर्वाद प्राप्त किया। शासन द्वारा राजिम कुंभ को पर्यटन स्थल को और भव्य बनाने के लिए अनेक प्रयोग किए गए है वहीं लोमष ऋषि आश्रम के सामने पर्वत आकृति पर त्रिगौमुखी का आकर्षक दृष्य बना रहा है, इसी तरह मुख्य मंच के पास भगवान श्री राम की मूर्ति में लोग सेल्फी लेते दिखाई दिए। शासन की योजनाओं की जानकरी देने लगे स्टॉलों में भी भारी भीड़ रही। महाशिवरात्रि की भीड़ राजिम को जोड़ने वाली सभी सड़कों पर थी। लोग अपने परिवार के साथ मेले का मजा लेने पहुंचे हुए थे। रेत पर चल रहे खेल तमाशें करतब ने लोगों को खूब आकर्षित किया। विभिन्न जिलों से पहुंचे श्रद्धालु राजिम कुंभ में आकर अपने आपको धन्य समझा और एहसास किया कि हम हरिद्वारा व काशी जैसे पावन तीर्थ स्थल पर का आभास हो रहा है।