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नक्सल मुक्त अभियान का असर : सीजफायर और शांति वार्ता के लिए माओवादियों ने जारी किया एक और प्रेस नोट, सरकार के सामने रखी ये शर्त

 



सुकमा।सुरक्षाबलों की ओर से की जा रही लगातार कार्रवाई से नक्सली अब बैकफुट पर नजर आ रहे हैं। बड़े लीडरों के मारे जाने के बाद माओवादियों की कमर टूट गई है। यहीं वजह है कि नक्सली अब शांति वार्ता के लिए तैयार हो रहे हैं। इस बीच अब एक बार फिर नक्सलियों ने प्रेस जारी कर सीजफायर और शांति वार्ता की अपील है। सुरक्षाबलों के ऑपरेशन कगार को रोकने की मांग की है। नक्सलियों ने प्रेस नोट में कहा है कि वार्ता के लिए अनुकूल माहौल बनाया जाए। बस्तर में हो रहे हत्याकांड रूकने चाहिए। वार्ता की प्रक्रिया को अंजाम तक पहुंचाने के लिए अनुकूल माहौल बनाना जरूरी है, यह सरकार की जिम्मेदारी है।

नक्सली बोले- अनुकूल माहौल के बिना वार्ता संभव नहीं
उत्तर-पश्चिम सब जोनल ब्यूरो की ओर से जारी प्रेस नोट में कहा गया है कि हमारे केंद्रीय कमेटी तरफ से हाल ही में शांति वार्ता को लेकर एक बयान जारी हुआ। उस बयान में भी यही अनुरोध किया गया कि वार्ता के लिए अनुकूल माहौल चाहिए, छत्तीसगढ़ की उप मुख्यमंत्री विजय शर्मा जी ने इस पर प्रतिक्रिया दी। हमारी केंद्रीय कमेटी के ‘अनुकूल माहौल बनाने की मांग को उन्होंने इंकार किया। लेकिन अनुकूल माहौल के बिना वार्ता संभव नहीं होंगे, यह सभी जानते। फिर इसका मतलब यह है कि सरकार ने अभी जो तरीका अपनाया है उसे ही जारी रखना चाहती, इसका विरोध होनी चाहिए। सरकार की आत्मसमर्पण नीति को समस्या का पूर्ण परिष्कार के रूप में बताने का भी विरोध होनी चाहिए।

 

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