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मैट्स यूनिवर्सिटी में श्रद्धा और नवाचार के साथ हुआ विश्वकर्मा पूजा का आयोजन

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रायपुर।मैट्स यूनिवर्सिटी में विश्वकर्मा पूजा 2025 बड़े हर्ष और श्रद्धा के साथ मनाई गई। इस अवसर पर भगवान विश्वकर्मा, जो शिल्पकला, इंजीनियरिंग और नवाचार के शाश्वत प्रतीक एवं दिव्य वास्तुकार हैं, को नमन करते हुए सभी ने कौशल, रचनात्मकता और तकनीकी उत्कृष्टता के लिए उनका आशीर्वाद प्राप्त किया। यह कार्यक्रम यांत्रिक अभियांत्रिकी विभाग द्वारा आयोजित किया गया, जिसमें संकाय सदस्यों, विद्यार्थियों और कर्मचारियों ने उत्साहपूर्वक भाग लिया।



कार्यक्रम में कुलाधिपति गजराज पगारिया, माननीय कुलपति प्रो. (डॉ.) के. पी. यादव, महानिदेशक प्रीयेश पगारिया तथा पंजीयक गोकुलनंद पांडा, साथ ही डॉ. बृजेश पटेल (डीन, इंजीनियरिंग) और अन्य सम्मानित संकाय सदस्य उपस्थित रहे। सभी विशिष्ट अतिथियों ने संकाय, कर्मचारी और विद्यार्थियों के साथ मिलकर पूजा और हवन में श्रद्धापूर्वक भाग लिया। ये पारंपरिक अनुष्ठान विश्वविद्यालय की संस्कृति के प्रति सम्मान को दर्शाते हुए सभी को शैक्षणिक और व्यावसायिक जीवन में नवाचार व सटीकता की ओर प्रेरित कर रहे थे।

अपने संबोधन में प्रो. (डॉ.) के. पी. यादव ने इंजीनियरिंग समुदाय के लिए विश्वकर्मा पूजा के महत्व पर प्रकाश डालते हुए कहा कि भगवान विश्वकर्मा का दिव्य आशीर्वाद इंजीनियरों को समर्पण और ईमानदारी के साथ सृजन, डिज़ाइन और निर्माण के लिए प्रेरित करता है। गजराज पगारिया, प्रीयेश पगारिया और गोकुलनंद पांडा ने सभी प्रतिभागियों को आशीर्वाद और शुभकामनाएँ प्रदान करते हुए विद्यार्थियों को सृजनशीलता, अनुशासन और तकनीकी उत्कृष्टता के मूल्यों को बनाए रखने के लिए प्रोत्साहित किया। डॉ. बृजेश पटेल ने उपस्थित सभी लोगों का आभार व्यक्त करते हुए यांत्रिक अभियांत्रिकी विभाग की व्यावहारिक कौशल, अनुसंधान आधारित शिक्षा और उद्योग-उन्मुख प्रतिभा को प्रोत्साहित करने की प्रतिबद्धता दोहराई।

कार्यक्रम का समापन प्रसाद वितरण और सभी विद्यार्थियों, संकाय सदस्यों एवं कर्मचारियों की सफलता, सुरक्षा और समृद्धि की सामूहिक प्रार्थना के साथ हुआ। इस आयोजन ने मैट्स यूनिवर्सिटी के उस दृष्टिकोण को सुदृढ़ किया जिसमें सांस्कृतिक धरोहर और आधुनिक तकनीकी शिक्षा का समन्वय है, जो आने वाली पीढ़ी के इंजीनियरों को एक सतत् भविष्य के लिए सृजनशील और नवाचारी बनने की प्रेरणा देता है।