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CJI पर जूता फेंकने वाले वकील पर चलेगा अवमानना का केस, अटॉर्नी जनरल ने दी मंजूरी,जानिए क्या था पूरा मामला

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दिल्ली। मुख्य न्यायाधीश बीआर गवई पर जूता फेंकने वाले वकील राकेश किशोर की मुश्किलें बढ़ने वाली हैं। ऐसा इसलिए कि वकील के खिलाफ पर अवमानना का मुकदमा चलेगा। अटॉर्नी जनरल ने राकेश किशोर के खिलाफ अवमानना कार्यवाही शुरू करने की सहमति दे दी है।

सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता और सुप्रीम कोर्ट बार एसोसिएशन (एससीबीए) के प्रमुख एवं वरिष्ठ अधिवक्ता विकास सिंह ने कोर्ट से अनुरोध किया कि मुख्य न्यायाधीश पर जूता फेंकने वाले वकील राकेश किशोर के खिलाफ अवमानना मामले की सुनवाई की जाए।

ऐसे में सुप्रीम कोर्ट ने दीवाली की छुट्टियों के बाद मामला सुनवाई के लिए लगाने का निर्देश दिया है। दरअसल, गुरुवार (16 अक्तूबर) को मामला न्यायमूर्ति सूर्यकांत और न्यायमूर्ति जॉयमाल्या बागची की पीठ से अनुरोध किया कि मुख्य न्यायाधीश पर जूता फेंकने वाले वकील राकेश किशोर के खिलाफ अवमानना मामले की सुनवाई की जाए।

वरिष्ठ वकील विकास सिंह और सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने पीठ को जानकारी दी कि अटॉर्नी जनरल ने कार्यवाही की अनुमति दे दी है। सिंह ने इस दौरान कहा कि 6 अक्टूबर को हुई घटना को लेकर सोशल मीडिया पर काफी हंगामा मचा हुआ है और इससे संस्थागत अखंडता और गरिमा को ठेस पहुंच रही है। जिस पर पीठ ने कहा कि अभिव्यक्ति का मौलिक अधिकार पूर्ण नहीं है और इसे दूसरों की अखंडता और गरिमा की कीमत पर नहीं छीना जा सकता।

जानिए क्या था पूरा मामला?
आपको बता दें कि 6 अक्टूबर को उस वक्त चौंकाने वाली सुरक्षा चूक सामने आई, जब 71 वर्षीय वकील राकेश किशोर ने मुख्य न्यायाधीश की ओर उनके न्यायालय कक्ष में जूता फेंका। जिसके बाद तुरंत वकील को वहां मौजूद सुरक्षाकर्मियों ने हिरासत में लिया। हालांकि पूरे हंगामे के बाद सीजेआई शांत नजर आए और उन्होंने कार्यवाही जारी रखी। इसी के साथ मुख्य न्यायाधीश गवई ने इसे भूला हुआ अध्याय भी बताया। वहीं वकील के इस कृत्य के बाद बार काउंसिल ऑफ इंडिया ने उनका लाइसेंस तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया था।