छत्तीसगढ़ में वन क्षेत्र की वृद्धि: वन विभाग की प्रतिबद्धता का प्रमाण,वन और वृक्ष आवरण क्षेत्र 683.62 वर्ग किमी बढ़ा

रायपुर। भारत राज्य वन रिपोर्ट (ISFR) 2023 के अनुसार, छत्तीसगढ़ ने वन और वृक्ष आवरण क्षेत्र में सर्वाधिक वृद्धि दर्ज कर देश में प्रथम स्थान प्राप्त किया है। रिपोर्ट में बताया गया है कि राज्य ने 94.75 वर्ग किलोमीटर के वन आवरण क्षेत्र की वृद्धि की है, जो ISFR 2021 की तुलना में 0.07% की बढ़ोतरी को दर्शाता है। अब छत्तीसगढ़ का कुल वन आवरण क्षेत्र 55,811.75 वर्ग किलोमीटर हो गया है।
ISFR 2023 में यह भी उल्लेख किया गया है कि छत्तीसगढ़ ने वन और वृक्ष आवरण क्षेत्र में कुल 683.62 वर्ग किलोमीटर की वृद्धि दर्ज की है, जो देश के अन्य राज्यों जैसे उत्तर प्रदेश, ओडिशा और राजस्थान से कहीं अधिक है। इसके साथ ही, राज्य ने वृक्ष क्षेत्र में भी 702.75 वर्ग किलोमीटर की वृद्धि हासिल की है, जो छत्तीसगढ़ को इस क्षेत्र में भी शीर्ष पर रखता है।
वन क्षेत्र की संरचना में सुधार भी राज्य की एक और बड़ी उपलब्धि है। रिपोर्ट के अनुसार, 2021 से 2023 के बीच, छत्तीसगढ़ में बहुत सघन वन (Very Dense Forest) का क्षेत्र 7,068 वर्ग किलोमीटर से बढ़कर 7,416.57 वर्ग किलोमीटर हो गया है, जो 348.57 वर्ग किलोमीटर की प्रभावशाली वृद्धि को दर्शाता है। इसी तरह, खुले वन क्षेत्र (Open Forest) में भी वृद्धि हुई है, जो 16,370 वर्ग किलोमीटर से बढ़कर 16,411.38 वर्ग किलोमीटर तक पहुंच गया है।
प्रधान मुख्य वन संरक्षक एवं वन बल प्रमुख वी. श्रीनिवास राव ने कहा “इस उपलब्धि का श्रेय छत्तीसगढ़ के माननीय मुख्यमंत्री विष्णु देव साय और वन मंत्री श्री केदार कश्यप के नेतृत्व एवं श्रीमती ऋचा शर्मा, अपर मुख्य सचिव, वन एवं जलवायु परिवर्तन विभाग के मार्दर्शन में वन विभाग की समर्पित टीम को जाता है।“ उन्होंने इस सफलता को सामुदायिक वनीकरण कार्यक्रमों एवं मजबूत वन संरक्षण उपायों का परिणाम बताया। उन्होंने आगे कहा कि यह उपलब्धि राज्य की समृद्ध जैव विविधता को संरक्षित करने और जलवायु परिवर्तन के प्रभावों का सामना करने की हमारी प्रतिबद्धता को दर्शाती है।
छत्तीसगढ़ वन विभाग ने वन क्षेत्र में वृद्धि के लिए बहुआयामी दृष्टिकोण अपनाया है, जिसमें बड़े पैमाने पर वृक्षारोपण अभियान, संरक्षण परियोजनाएं, और स्थानीय समुदायों की सक्रिय भागीदारी शामिल है। संयुक्त वन प्रबंधन समितियों (JFMCs) के माध्यम से स्थानीय समुदायों को शामिल करते हुए प्राकृतिक आवासों के संरक्षण और सतत आजीविका सुनिश्चित करने पर विशेष ध्यान दिया गया है।
ISFR 2023 के नतीजे यह स्पष्ट करते हैं कि छत्तीसगढ़ विकास और पर्यावरण संरक्षण के बीच संतुलन बनाने के लिए दृढ़ संकल्पित है। राज्य का वन विभाग वन क्षेत्र को और बढ़ाने, वन्यजीव आवासों को संरक्षित करने, और आने वाली पीढ़ियों के कल्याण के लिए वनों के महत्व के प्रति जागरूकता फैलाने के अपने मिशन को लेकर प्रतिबद्ध है।