गरियाबंद। सिकासार बांध के पानी को महासमुंद जिले में सिंचाई के लिए ले जाने की योजना को लेकर गरियाबंद जिले में राजनीतिक और सामाजिक माहौल गर्म हो गया है। इस मुद्दे पर प्रथम पंचायत एवं ग्रामीण विकास मंत्री अमितेश शुक्ल ने गरियाबंद जिला मुख्यालय में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर सरकार पर जमकर निशाना साधा। उन्होंने साफ कहा कि सिकासार बांध का पानी राजिम क्षेत्र के किसानों के लिए है, इसे दूसरे जिले में ले जाना किसी भी कीमत पर बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
“सिकासार बांध किसानों के हित के लिए बना था”
अमितेश शुक्ल ने अपने प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा, “पंडित श्यामाचरण शुक्ल ने राजिम क्षेत्र के किसानों की खुशहाली और उनकी सिंचाई जरूरतों को पूरा करने के लिए सिकासार बांध का निर्माण करवाया था। आज भाजपा सरकार इस बांध के पानी को दूसरे जिले में ले जाने की साजिश कर रही है। इससे राजिम क्षेत्र के किसानों की आजीविका पर गहरा संकट आएगा।”
“भाजपा सरकार को जगाने का समय आ गया है”
शुक्ल ने भाजपा सरकार को आड़े हाथों लेते हुए कहा, “यह गूंगी और बहरी सरकार किसानों की जरूरतों को अनदेखा कर रही है। मैं भाजपा नेताओं से पूछता हूं कि वे इस सर्वे को रुकवाने के लिए आगे आएंगे या नहीं। यदि सरकार ने इस योजना को बंद नहीं किया, तो हम इसे रोकने के लिए हर संभव आंदोलन करेंगे।”
स्थानीय विधायक पर गंभीर आरोप
राजिम विधायक रोहित साहू की चुप्पी पर सवाल उठाते हुए अमितेश शुक्ल ने कहा, “राजिम क्षेत्र के किसानों को अपने विधायक से यह जानने का हक है कि वे इस मुद्दे पर क्या कदम उठाएंगे। उनकी चुप्पी दिखाती है कि उन्हें अपने क्षेत्र के किसानों की कोई चिंता नहीं है।” शुक्ल ने मांग की कि विधायक इस योजना पर अपनी स्थिति स्पष्ट करें और इसे तुरंत रुकवाने की पहल करें।
किसानों के खिलाफ खतरनाक योजना
अमितेश शुक्ल ने कहा कि भाजपा सरकार की यह योजना किसानों के खिलाफ अब तक की सबसे खतरनाक साजिश है। उन्होंने कहा, “सिकासार बांध का पानी राजिम क्षेत्र के किसानों के लिए जीवनरेखा है। इसे महासमुंद जिले में ले जाने से यहां के किसान पानी की बूंद-बूंद के लिए तरस जाएंगे।”
कांग्रेस का ऐलान: हर हाल में रोकेंगे योजना
प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान शुक्ल ने कहा कि सिकासार बांध का पानी कहीं और ले जाने का प्रयास किसानों के साथ धोखा है। उन्होंने ऐलान किया कि कांग्रेस इस योजना के खिलाफ सड़कों पर उतरकर संघर्ष करेगी। “राजिम क्षेत्र के किसानों की हकदारी को छीनने की कोशिश को हम हर हाल में नाकाम करेंगे।”
भविष्य की लड़ाई की तैयारी
शुक्ल ने सरकार को चेतावनी देते हुए कहा, “यदि यह योजना आगे बढ़ाई गई, तो इसका जवाब जनता सड़कों पर उतरकर देगी। सिकासार बांध से जुड़े किसानों और स्थानीय लोगों का संघर्ष सिर्फ एक शुरुआत है।”
राजनीतिक माहौल गर्म
अमितेश शुक्ल के इस तीखे बयान के बाद क्षेत्र में राजनीतिक गतिविधियां तेज हो गई हैं। जहां राजिम के किसान इस योजना का विरोध कर रहे हैं, वहीं महासमुंद और बागबाहरा क्षेत्र के लोग इसे सिंचाई के लिए राहत मान रहे हैं।
यह देखना दिलचस्प होगा कि सरकार इस पर क्या कदम उठाती है और क्षेत्रीय संतुलन कैसे बनाए रखती है। लेकिन स्पष्ट है कि अमितेश शुक्ल और कांग्रेस ने इस मुद्दे को लेकर बड़ा आंदोलन खड़ा करने की तैयारी कर ली है।