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अवैध निर्माण का मामला, हाईकोर्ट के आदेश के बाद भी कार्रवाई नहीं

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रायपुर। गीतांजलि नगर के सेक्टर-1 में स्थित प्लॉट नंबर 6 पर हो रहे अवैध निर्माण का मामला अब तूल पकड़ रहा है। प्लॉट के पड़ोसी आशीष अग्रवाल और नंद किशोर अग्रवाल ने नगर निगम के अधिकारियों पर हाईकोर्ट के आदेश का उल्लंघन करने का आरोप लगाया है। उनका कहना है कि निगम के स्वीकृत नक्शे के विपरीत हो रहे निर्माण के खिलाफ कई बार शिकायत करने के बाद भी कोई कार्रवाई नहीं की गई।



यह है पूरा मामला?
आशीष अग्रवाल और नंद किशोर अग्रवाल के अनुसार उनके पड़ोसी नीरज और विशाल मेघानी अपने प्लॉट नंबर 6 पर निगम द्वारा स्वीकृत नक्शे के विपरीत निर्माण करवा रहे हैं। इस संबंध में उन्होंने जोन कमिश्नर, निगम आयुक्त और महापौर सहित कई सक्षम अधिकारियों से शिकायत की, लेकिन उनकी शिकायतों को नजरअंदाज कर दिया गया।

हाईकोर्ट का आदेश भी बेअसर :
शिकायतों का कोई समाधान न होने पर आशीष अग्रवाल ने माननीय उच्च न्यायालय का रुख किया। उच्च न्यायालय ने 4 अप्रैल, 2025 को याचिका क्रमांक WPC 1708/2025 में एक आदेश पारित किया, जिसमें निगम आयुक्त को 7 दिनों के भीतर नियमानुसार कार्रवाई करने का निर्देश दिया गया था।
अग्रवाल का आरोप है कि हाईकोर्ट के आदेश के बाद भी 1 महीने तक निगम ने कोई कार्रवाई नहीं की। इसके बाद उन्होंने 23 मई, 2025 को फिर से जोन कमिश्नर को पत्र लिखकर कार्रवाई का निवेदन किया।

जान-माल के नुकसान का खतरा :
निगम की ओर से कोई ठोस कार्रवाई न होने पर अग्रवाल ने 8 जुलाई, 2025 को सूचना के अधिकार के तहत कार्रवाई की जानकारी मांगी। इसके अलावा, उन्होंने निगम आयुक्त और जोन कमिश्नर को पत्र लिखकर यह भी आपत्ति दर्ज कराई कि इस मामले में किसी भी प्रकार का राजीनामा या नियमितीकरण न किया जाए।
अग्रवाल ने 16 जुलाई और 4 अगस्त को भी जोन कमिश्नर को पत्र भेजकर निर्माण स्थल पर लगी सेंटरिंग को हटाने का अनुरोध किया, क्योंकि इससे जान-माल के नुकसान और दुर्घटना का खतरा था। हालांकि, इन पत्रों पर भी कोई ध्यान नहीं दिया गया। 29 जुलाई, 2025 को उन्होंने फिर से जोन कमिश्नर को सर्वोच्च न्यायालय और उच्च न्यायालयों के अवैध निर्माणों के खिलाफ पारित आदेशों की जानकारी दी।
अब देखना यह है कि इस मामले में निगम प्रशासन कब कार्रवाई करता है और क्या हाईकोर्ट के आदेश का पालन किया जाएगा।

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