रायपुर।जशपुर के बगीचा ब्लॉक में पहाड़ी कोरवा के परिवार के चार सदस्यों की भूख के कारण आत्महत्या करने के मामले में प्रदेश भाजपा ने राज्यपाल से भेंट कर उन्हें परिस्थितियों से अवगत कराया।भाजपा ने इस झकझोर देने वाले घटनाक्रम के तथ्य एकत्र करने जांच दल भेजा था, जिसकी रिपोर्ट राज्यपाल को सौंपी गई। भाजपा विधायकों एवं सांसदों ने उन्हें संबंधित सभी तथ्य सौंपे।
प्रदेश भाजपा अध्यक्ष सांसद अरुण साव, भाजपा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष पूर्व मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह, नेता प्रतिपक्ष नारायण चंदेल, पूर्व विधानसभा अध्यक्ष धरमलाल कौशिक, प्रदेश भाजपा महामंत्री केदार कश्यप, सांसद सुनील सोनी, पूर्व सांसद रामविचार नेताम, विधायक पुन्नूलाल मोहले, कृष्णमूर्ति बांधी, भाजपा सरगुजा संभाग प्रभारी संजय श्रीवास्तव सहित भाजपा नेताओं ने राजभवन में राज्यपाल से मुलाकात कर उन्हें उस क्षेत्र की चिंताजनक परिस्थितियों से अवगत कराया।राज्यपाल से मुलाकात के बाद प्रदेश भाजपा अध्यक्ष सांसद अरुण साव ने कहा कि पहाड़ी कोरवा परिवार की आत्महत्या के लिए राज्य सरकार जिम्मेदार है। हमने राज्यपाल से इस मामले की न्यायिक जांच की मांग की है। पहाड़ी कोरवा परिवार को खाद्यान्न नहीं मिला। रोजगार नहीं है।
जल जीवन मिशन राज्य सरकार के भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ गया। इन्हें पीने का पानी तक नसीब नहीं है। पूर्व मुख्यमंत्री डॉ.रमन सिंह ने कहा कि कांग्रेस के राज में यह हाल है कि राष्ट्रपति के दत्तक पुत्र पहाड़ी कोरवा को मौत के लिए मजबूर होना पड़ रहा है। कोई मूलभूत सुविधाएं नहीं मिल रही। 2 अप्रैल को पहाड़ी कोरवा परिवार की आत्महत्या की हृदय विदारक घटना सामने आई लेकिन मुख्यमंत्री ने वहां जाकर स्थिति देखने और पीड़ित परिवार से मिलने की जरूरत नहीं समझी। नेता प्रतिपक्ष नारायण चंदेल ने कहा कि वहां मौके पर गई टीम ने जो देखा, उसकी रिपोर्ट राज्यपाल को दी है। रोजगार मूलक काम नहीं हो रहे। समय पर खाद्यान्न न मिलने से भूख के कारण यह घटना हुई। पानी की व्यवस्था नहीं है। विकास के काम नहीं हो रहे। केंद्र के पैसे का दुरुपयोग किया जा रहा है। जिसके राज में भूख के कारण कोई आत्महत्या करे, उस मुख्यमंत्री को एक मिनट भी पद पर बने रहने का नैतिक अधिकार नहीं है।