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सीएम योगी बोले- पहले नियुक्तियों में होती थी बेईमानी, हमने नियमों का पालन करते हुए की भर्तियां

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ  ने 11 नवनियुक्त शिक्षक शिक्षिकाओं को नियुक्ति पत्र बांटे. इस दौरान सीएम योगी ने कहा कि कई सालों बाद शिक्षकों के चयन की प्रक्रिया पारदर्शी हो पा रही है. बीते 4 सालों में हमने पारदर्शी तरीके से शिक्षकों के पद भरने का प्रयास किया है.

सीएम योगी ने कहा कि आरक्षण के सभी नियमों का पालन करते हुए भर्तियां की गई हैं. उन्होंने कहा कि, ”आपको ऐसे समय शिक्षक के रूप में कार्य करने का अवसर मिल रहा जब देश नई शिक्षा नीति के साथ आगे आ रहा है. 2022 से देश नई शिक्षा नीति के साथ आगे बढ़ेगा. शिक्षा सिर्फ किताबी ज्ञान नहीं बल्कि इनोवेशन का माध्यम बनेगी. आप में बहुत से ऐसे होंगे जिन्होंने 2017 के पहले भी प्रयास किया होगा लेकिन योग्यता के बावजूद चयन नहीं हो पाया होगा. 2017 के पहले नियुक्तियों में बेईमानी और भ्रष्टाचार था. हमने 52-53 महीने में साढ़े 4 लाख सरकारी भर्तियां की. जब हम आए तो तमाम भर्तियां कोर्ट में फंसी थी. पिछले 15-20 साल के सरकारों में आंकड़ों को देखिए इतनी नियुक्ति कभी नहीं हुई. इससे कई गुना ज्यादा निजि क्षेत्र में रोजगार दिया गया है”

सीएम योगी ने प्रदेश में कानून व्यवस्था को लेकर कहा कि यहां कानून व्यवस्था का बोलबाला है. अब कोई माफिया वसूली नहीं कर सकता, उसे पता है की ऐसा किया तो क्या अंजाम होगा. सीएम ने कहा कि प्रदेश में प्रति व्यक्ति आय बढ़ी है, अर्थव्यवस्था सुधरी है. जब हम यहां आए तो सबसे अधिक आबादी वाले राज्य की गिनती देश में छठी अर्थव्यवस्था थी लेकिन हमने 4 साल में जो काम किया उससे आज यूपी देश में दूसरी अर्थव्यवस्था है.

सीएम ने कहा कि फरवरी 2018 में जब पीएम से इन्वेस्टर समिट का उद्घाटन कराया था तो वन डिस्ट्रिक वन प्रोडक्ट लांच किया. ये पहले भी हो सकता था लेकिन पिछली सरकारों में सोच नहीं थी. पिछली सरकारों की मंशा ही नहीं थी कि प्रदेश के युवा को अपने घर, क्षेत्र में ही रोजगार मिले इसीलिए रोजगार के लिए युवा को पलायन करना पड़ता था. पहले प्रदेश में बेरोजगारी दर 17.6 फीसदी थी जो अब 4.1 फीसदी रह गई है.

 

 

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