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महादेव सट्टा एप मामला : सटोरिए की शादी में दुबई गए बारातियों की भी होगी जांच

रायपुर। विधानसभा के प्रश्नकाल में गुरुवार को महादेव सट्टा में राजनेताओं तत्कालीन मुख्यमंत्री पुलिस के अफसरों की संलिप्तता को लेकर खुलकर सवाल उठे। आज के पहले ही तारांकित प्रश्न के जरिए भाजपा के राजेश मूणत ने गृहमंत्री विजय शर्मा से सवाल-जवाब किया। मूणत ने एक-एक आरोपी का नाम उपमुख्यमंत्री से पूछा। जिसके जवाब में उपमुख्यमंत्री ने बताया कि राज्य पुलिस ने 28 शिकायतों में कुल 90 अपराध दर्ज किए हैं।

डिप्टी सीएम विजय शर्मा ने मामले में बड़ा बयान देते हुए बताया कि, मुख्य आरोपी सौरभ चंद्राकर की दुबई में शादी के लिए नागपुर से चार्टर्ड प्लेन में सवार सभी बारातियों की सूची ली जा रही है। सबकी संपत्ति की जांच करेंगे, कुर्क करेंगे। मूणत ने कहा कि यह मुद्दा पूरे प्रदेश से जुड़ा है। हजारों नौजवान महादेव एप के सट्टे के गोरखधंधे की चपेट में हैं। इसके संचालकों में प्रदेश, देश से लेकर अंतरराष्ट्रीय स्तर पर सक्रिय हैं। इसकी ईडी जांच कर रही है। मूणत ने पूछा कि इसके संचालक कौन कौन हैं, किन-किन की भूमिका सामने आई है। यह सरकार के संज्ञान में कब आया।

इसके जवाब में सरकार की तरफ से लिखित उत्तर में डिप्टी सीएम विजय शर्मा ने कहा कि 2022 में सरकार के संज्ञान में आया और 90 एफआईआर हुए हैं। रायपुर में 36, दुर्ग में 23, बिलासपुर, जांजगीर में 2-2, सूरजपुर में 4 एफआईआर। दुर्ग में 67 गिरफ्तार और 54 को खिलाफ चालान पेश किया जा चुका है। शर्मा ने कहा कि अन्य कुछ और एप पर भी एफआईआर है जांच चल रही है। महादेव के कुछ संचालक दुबई में है, जो छत्तीसगढ़ के लोग है। इनके खिलाफ लुक आउट नोटिस, रेड कॉर्नर नोटिस जारी की गई है। उनके प्रत्यर्पण की कार्रवाई चल रही है।

गृहमंत्री ने कहा कि इसमें संलिप्त लोगों के 507 बैंक एकाउंट पता चले हैं, इनमें से 221 एकाउंट, 1,16,71696 रूपए फ्रीज कराए गए हैं । दुर्ग में 38, सूरजपुर में 38, जांजगीर में 5 बैंक एकाउंट फ्रीज कराए गए। मंत्री ने कहा कि इसमें लिप्त लोगों पर कार्रवाई भी हुई है।

जिनमें सरकारी महकमे को लोग भी हैं। ईडी ने जेल भेजा है। ये लोग सस्पेंड, बर्खास्त भी किए गए हैं। दो जेल में सजा काट रहे। और जिन नामों की चर्चा हैं, उन पर आधिकारिक, प्रमाण आएगा कार्रवाई करेंगे। शर्मा ने कहा कि जो आग उनके (मूणत) दिल में है वो मेरे दिल में भी है। यह पर्वत सी पीर नि:संदेह पिघलेगी। प्रमाण मिलते ही कार्रवाई करने में एक घंटा नहीं देर नहीं करेंगे। बारातियों की सूची ली जा रही है,

सबकी संपत्ति की जांच करेंगे, कुर्क करेंगे

इसपर पूर्व मंत्री मूणत ने उपमुख्यमंत्री के उत्तर से असंतुष्टता जताते हुए कहा कि एक सामान्य सा आधिकारिक उत्तर दे दिया गया। मूणत ने कहा कि 90 केस दर्ज हैं, हर किसी में 164 के तहत बयान लिया गया है। यानी यह कोर्ट में लिए गए बयान की तरह होते हैं उस आधार पर कार्रवाई नहीं गई। लोग खुले घूम रहे हैं। इनमें पुलिस के भी अफसर हैं। मंत्री शर्मा ने कहा कि कार्रवाई करते हुए 54 चालान पेश किए जा चुके हैं। और किसी के बयान पर फांसी पर नहीं चढ़ाया जा सकता। बयानों पर जांच चल रही हैं। प्रमाणित होते ही कोई अफसर, नेता, समाज कि परवाह किए बिना गुनाहगारों को जेल पहुंचाया जाएगा। और कुछ मामलों में संपत्ति कुर्क करने की भी कार्रवाई प्रक्रियाधीन है। शर्मा ने यह भी बताया कि दुबई में शादी के लिए नागपुर से चार्टर्ड प्लेन में सवार सभी बारातियों की सूची ली जा रही है। सबकी संपत्ति की जांच करेंगे, कुर्क करेंगे। इस पर मूणत ने असहमति जताते हुए कहा कि महादेव सट्टे के कॉकस में पुलिस के एसपी, से लेकर एएसाई तक संलिप्त रहे हैं। सबके सबूत हैं। एएसआई चंद्र भूषण वर्मा ने अपने बयान में एक-एक के नाम बताए हैं उन पर क्या कार्रवाई करेंगे। गृह मंत्री ने कहा कि ईडी ने बयान लिया है, जो कोर्ट में जमा है। ईडी ने कोई अधिकृत जानकारी नहीं दी है। जानकारी आते ही कार्रवाई करेंगे। किसी को नहीं बख्शा जाएगा।

ईडी की जांच अंतिम स्थिति में हैं ऐसे में फिर से नई जांच ठीक नहीं

मूणत ने कहा कि ऐसा नहीं है, ईडी ने 3 जनवरी को जानकारी भेज दी थी। उसके बाद भी किन अधिकारियों को बचाया जा रहा है। इन अफसरों को महीना 30, 50 लाख, 1 करोड़ रूपए पहुंचाएं जाते रहे हैं। सरकार स्वत: संज्ञान लेकर ईओडब्लू, सीबीआई से जांच कराए? मंत्री श्री शर्मा ने कहा कि 5 फरवरी को जीएडी ने बताया है कि ईडी ने कोई जानकारी नहीं दी है। मूणत ने कहा कि गलत जानकारी दी जा रही है, अध्यक्षजी आप कहेंगे तो पूरी जानकारी सदन में रख दूंगा। मैं दो वर्षों से इस पर नजर रखे हुए हूं। एफआईआर हुई, विवेचना हुई लेकिन एक भी बड़ी मछली नहीं पकड़ पाए। इसलिए जांच जरूरी है। मंत्री ने कहा कि आपके पास अतिरिक्त जानकारी है तो दे दें, मछली ही नहीं बड़े से बड़ा मगरमच्छ भी होगा तो पकड़ेंगे। चूंकि केंद्रीय एजेंसी ईडी की जांच अंतिम स्थिति में हैं ऐसे में फिर से नई जांच ठीक नहीं। कार्रवाई की समय सीमा तय करें

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