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जेएसपी बनाएगा अग्निरोधी स्टील स्ट्रक्चर, बीआईएस ने देश में फायर रेजिस्टैंट स्टील स्ट्रक्चर बनाने का पहला लाइसेंस जिन्दल को दिया

• बीआईएस 15103 ग्रेड स्ट्रक्चरल स्टील तीन घंटे तक 600 डिग्री सेल्सियस तापमान सहने में सक्षम
• अग्निरोधी स्टील स्ट्रक्चर का उपयोग रिफाइनरी, इमारतें, अस्पताल, मेट्रो, स्टील, बिजली कारखानों और औद्योगिक परिसर निर्माण समेत अनेक इन्फ्रास्ट्रक्चर परियोजनाओं में किया जाएगा

रायपुर।जाने-माने उद्योगपति श्री नवीन जिन्दल के नेतृत्व वाली कंपनी जिन्दल स्टील एंड पावर को राष्ट्र निर्माण के लक्ष्य के अनुरूप एक बड़ी उपलब्धि हासिल हुई है। बीआईएस (ब्यूरो ऑफ इंडियन स्टैंडर्ड) यानी भारतीय मानक ब्यूरो ने अग्निरोधी स्टील स्ट्रक्चर (फायर रेजिस्टैंट स्टील स्ट्रक्चर) तैयार करने के लिए जेएसपी के रायगढ़ स्टील प्लांट स्थित रेल मिल और स्पेशल प्रोफाइल मिल को देश का पहला लाइसेंस जारी किया है। आत्मनिर्भर भारत का सपना साकार करने की दिशा में सरकार का यह बड़ा कदम है क्योंकि हमारा देश अभी अग्निरोधी स्टील स्ट्रक्चर का आयात कर रहा है।*

आईएस 15103 मानकों के अनुसार निर्मित हॉट रोल्ड स्ट्रक्चरल स्टील का उपयोग उच्च तापमान या अग्नि संभावित क्षेत्रों में किया जा सकता है। इसे ऐसी तकनीक से तैयार किया गया है कि यह 600 डिग्री सेल्सियस तक का तापमान 3 घंटे तक सहन कर सकता है।

स्टील स्ट्रक्चर तैयार करने में अग्नि सुरक्षा एक चुनौती रही है। देश में अग्निरोधी स्टील के उत्पादन से विभिन्न ढांचागत निर्माण में आसानी होगी। नई बीआईएस 15103 ग्रेड के उपयोग से औद्योगिक स्ट्रक्चर्स, तेल शोधक कारखानों, पुलों, मेट्रो परियोजनाओं और स्टील एवं बिजली उत्पादन प्लांटों के साथ-साथ अस्पतालों व वाणिज्यिक एवं आवासीय भवनों जैसी बुनियादी ढांचा परियोजनाओं के निर्माण में एक नए युग की शुरुआत होगी।
जेएसपी के प्रबंध निदेशक श्री बिमलेंद्र झा ने इस उपलब्धि पर खुशी व्यक्त करते हुए कहा, “अग्निरोधी स्टील उत्पादन के लिए जिन्दल स्टील एंड पावर को जो लाइसेंस दिया गया है, वह भारत के मूलभूत ढांचे और इसके सुरक्षा मानकों को मजबूत करने में मील का पत्थर साबित होगा। यह अग्नि सुरक्षा के प्रति लोगों में आत्मविश्वास पैदा करेगा और एक सुरक्षित आत्मनिर्भर भारत के निर्माण का मार्ग भी प्रशस्त करेगा।”

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