यूक्रेन में रूस की ओर से किए जा रहे हमले की वजह से तबाही का मंजर है. यूक्रेन के अलग-अलग इलाकों में हमला बोलकर रूसी सैनिक सैन्य ठिकानों को तबाह कर रहे हैं. बड़ी-बड़ी इमारतों और स्कूलों को भी टारगेट किया जा रहा है. ऐसे में भारी संख्या में लोग हताहत हो रहे हैं. यूक्रेन पर हमले के बीच रूस पर दुनिया के कई देशों द्वारा लगातार प्रतिबंध भी लगाए जा रहे हैं. अमेरिका (America) और यूरोपीय सहयोगी रूस के खिलाफ यूक्रेन (Ukraine) पर हमला करने के लिए लगातार प्रतिबंधों को बढ़ा रहे हैं. रूस को पूरी तरह से अलग-थलग करने की वैश्वक स्तर पर कोशिश की जा रही है. प्रतिबंधों की वजह से रूस की अर्थव्यवस्था (Russian Economy) को काफी नुकसान पहुंच रहा है.
बैंकिंग, खेल और हवाई क्षेत्र में प्रतिबंधों से रूस पड़ा अलग–थलग
यूक्रेन में जंग के बीच व्हाइट हाउस (White House) ने गुरुवार को राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन (Vladimir Putin) के आंतरिक सर्कल के लोगों के उद्देश्य से अतिरिक्त वित्तीय प्रतिबंधों की घोषणा की. अमेरिकी विदेश विभाग ने कहा कि यह 19 रूसी एलिट क्लास और उनके परिवार के दर्जनों सदस्यों और सहयोगियों पर यात्रा प्रतिबंध लगा रहा है. अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडेन (Joe Biden) ने अपने संबोधन में कहा है कि व्लादिमीर पुतिन को अंदाजा भी नहीं है कि इन प्रतिबंधों से रूस को कितना नुकसान होगा. पुतिन को जंग के मैदान में बढ़त मिल रही है लेकिन उन्हें वक्त तक इसकी कीमत चुकानी होगी. बैंकिंग और खेल के मैदान से लेकर हवाई क्षेत्र तक प्रतिबंधों के जरिए रूस पर शिकंजा कसा जा रहा है.
38 देशों ने रूस की उड़ानों पर लगाए प्रतिबंध
रूसी सैनिक (Russian Troops) लगातार यूक्रेन के कई इलाकों को निशाना बनाकर काफी नुकसान पहुंचा रहे हैं तो दुनिया के कई देशों ने रूस को सबक सिखाने के लिए उसके हवाई क्षेत्र को बैन कर दिया है. दुनिया के करीब 38 देशों से रूस ने हवाई संपर्क तोड़ लिया है. यूक्रेन में लड़ाई शुरू होने के बाद अमेरिका, ब्रिटेन, यूरोपीय यूनियन समेत दुनिया के 38 देशों ने अपने हवाई क्षेत्र में रूस की विमानों पर प्रतिबंध लगा दिए हैं. इस फैसले से रूसी अर्थव्यवस्था को काफी नुकसान पहुंचने वाला है. साथ ही वो दुनिया के कई देशों से कट गया है. इसका सीधा असर रूस के एविएशन डिपार्टमेंट और इससे संबंधित कंपनियों पर पड़ना तय है. दुनिया की कुल एयरलाइंस में रूस का हिस्सा करीब 6 फीसदी माना जाता है.
SWIFT से अलग–थलग करना रूस के लिए बड़ा झटका
कई देशों ने रूस के सरकारी बैकों के वित्तीय लेनदेन पर रोक लगा दी है. अमेरिका, ब्रिटेन समेत 11 देशों में बड़े स्तर पर रूसी बैंकों के खिलाफ वित्तीय लेनदेन पर प्रतिबंध लगाए हैं. वहीं कई देशों में रूसी बैंकों और दूसरी संस्थाओं की पॉपर्टी भी जब्त की गई है. SWIFT से पहले ही रूस को बाहर का रास्ता दिखा दिया गया है जो पुतिन के लिए एक बड़ा झटका है. SWIFT से अलग-थलग किए जाने के बाद अब रूसी सेंट्रल बैंक और दूसरे प्रतिबंधित बैंक किसी तरह से वित्तीय लेनदेन दूसरे देश के बैंकों से नहीं कर सकेंगे.
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