गाजियाबाद: हिंडन एयरफोर्स स्टेशन पर आज भारतीय वायुसेना अपनी 88वीं वर्षगांठ मना रही है. इस मौके पर वायुसेना प्रमुख राकेश कुमार सिंह भदौरिया ने युद्ध सेवा मेडल, वायु सेना मेडल, विशिष्ट सेवा मंडल और यूनिट प्रशंसा पत्र प्रदान किए. वायुसेना प्रमुख ने चीन सीमा पर तैनात होने वाले एयर वॉरियर्स की तारीफ करते हुए कहा, ‘मैं देश को भरोसा दिलाना चाहता हूं कि भारतीय वायुसेना हमारे देश की संप्रभुता और हितों की रक्षा के लिए सभी परिस्थितियों में हमेशा तैयार रहेगी.’
वायुसेना प्रमुख ने कहा, ”यह साल वास्तव में अभूतपूर्व रहा, दुनियाभर में कोविड-19 तेजी से फैला. इस पर हमारे देश की प्रतिक्रिया दृढ़ थी. हमारे योद्धाओं की दृढ़ता और संकल्प ने सुनिश्चित किया कि भारतीय वायुसेना इस दौरान अपने फुल स्केल ऑपरेशन की क्षमता को बनाए रखे.”
वायुसेना प्रमुख राकेश कुमार सिंह भदौरिया ने कहा, ‘उत्तरी सीमा में हालिया गतिरोध के दौरान तैनाती के लिए मैं एयर वॉरियर्स की प्रशंसा करता हूं. हमने अपने संकल्प, अभियान क्षमता और जरूरत पड़ने पर अपने दुश्मन से प्रभावी तरीके से निपटने की इच्छाशक्ति का स्पष्ट तरीके से प्रदर्शन किया है.’
उन्होंने ये भी कहा कि आने वाले सालों में अंतरिक्ष क्षेत्र का महत्व बढ़ सकता है. ड्रोन जैसे कम लागत वाले विकल्पों पर अधिक ध्यान देने की जरूरत है. उभरते सुरक्षा परिदृश्य में हर तरह के युद्ध क्षेत्र में लड़ाई के लिए मजबूत वायुसेना की आवश्यकता है. हाल ही में बेड़े में शामिल राफेल, चिनूक और अपाचे जंगी विमानों से शत्रुओं से मुकाबला करने की क्षमता में काफी इजाफा हुआ है.
बता दें, भारतीय वायुसेना की 1932 में स्थापना हुई थी और भारतीय वायु सेना की स्थापना के उपलक्ष्य में हर साल एयरफोर्स डे मनाया जाता है. 88वें स्थापना दिवस पर वायुसेना के फ्लाई पास्ट का सबसे बड़ा आकर्षण राफेल रहा. आसमान में राफेल की गर्जना से भारत की जनता गर्व से फूल रही है.