नई दिल्ली: महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने पार्टी के संपादकीय मुखपत्र सामना को दिए इंटरव्यू में कई मुद्दों पर बातचीत की. लेकिन जब उनसे कंगना रनौत के बारे सवाल किया गया, तो महाराष्ट्र के सीएम ने कंगना रनोत पर कुछ भी कहने से परहेज किया. उद्धव ठाकरे ने कहा, “कृपया इसे छोड़ दें, मैं इस पर टिप्पणी नहीं करना चाहता. मेरे पास इस बारे में बात करने का समय नहीं है.”
कंगना के बारे में सवाल पूछने पर सीएम ने बस इतना कहा, “यह मुंबईकरों का अपमान है और लोग इस पर राजनीति करना चाहते हैं.”
दरअसल, हाल ही में कंगना रनोत ने मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे और शिवसेना पर निशाना साधा था. इसके अलावा उन्होंने पहले मुंबई को पाक अधिकृत कश्मीर (पीओके) जैसा बताया था. इसके बाद मुंबई महानगर पालिका ने कंगना रनोत के बंगले को नोटिस देते हुए निर्माण कार्य को अवैध बताया था और नोटिस देने के 24 घंटे बीतने के साथ ही बंगले पर तोड़फोड़ कर दी थी.
महाराष्ट्र की महाविकास अघाड़ी (एमवीए) सरकार शनिवार को अपना एक साल पूरा करने जा रही है और राजनीतिक विशेषज्ञों का कहना है कि मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे को सत्ता से हटाने की बीजेपी की तमाम कोशिशों के बावजूद सत्ता पर उनकी पकड़ मजबूत हुई है.
महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के बाद बीजेपी के साथ लंबी चली खींचतान के बाद शिवसेना ने भाजपा का साथ छोड़ कर एनसीपी और कांग्रेस के सहयोग से सरकार बनाई थी. उन्होंने पिछले साल 28 नवंबर को मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी. कोरोना वायरस महामारी और प्राकृतिक आपदाएं जैसे चक्रवात निसर्ग, पूर्व विदर्भ, मराठवाड़ा और पश्चिमी महाराष्ट्र के कुछ हिस्सों में बाढ़ आदि घटनाओं ने ‘ठाकरे सरकार’ के सामने कड़ी चुनौतियां पेश की.