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अंबिकापुर एसएनसीयू की कमान अब सिम्स के चाइल्ड स्पेशलिस्ट डॉ.जैन के हाथों में ,पूर्व प्रभारी की वेतन वृद्धि रुकी

अंबिकापुर। मेडिकल कॉलेज अस्पताल अंबिकापुर के मातृ शिशु अस्पताल के एसएनसीयू वार्ड में बीते दिनों 4 नवजात बच्चों की मौत के मामले में चिकित्सा शिक्षा विभाग ने फिर से कार्रवाई की है। घटना के बाद सिम्स बिलासपुर के शिशु रोग विशेषज्ञ डॉ.समीर जैन को अंबिकापुर में पदस्थ किया गया है। वहीं शिशु रोग विभाग की विभागाध्यक्ष की वेतन वृद्धि भी रोक दी गई है।

मेडिकल कालेज अस्पताल के एसएनसीयू में जब यह हादसा हुआ, तब डॉ. सुमन तिर्की शिशु रोग विभाग की विभागाध्यक्ष थी। जांच के बाद कार्रवाई में डॉ सुमन तिर्की को हटाकर डॉ. केआर टेकाम को प्रभार दिया गया था। शासन के आदेशनुसार अब डॉ.के.आर. टेकाम विभागाध्यक्ष के प्रभार से मुक्त कर दिया गया है। सिम्स के डॉ.समीर जैन को शिशु रोग विभाग की जिम्मेदारी दी गई है। वे यहां शिशु रोग विभाग की कमान संभालेंगे।

प्रभारी की रोकी गई वेतन वृद्धि 
घटना के बाद शिशु रोग विभाग की तत्कालीन प्रभारी डॉ.सुमन तिर्की को पद से हटाते हुए नोटिस देकर जवाब मांगा गया था। नोटिस का संतोष जनक जवाब नही मिलने पर डॉ. सुमन तिर्की की एक वेतन वृद्धि भी रोकने के आदेश दिए गए हैं। चिकित्सा शिक्षा विभाग के अवर सचिव जनक कुमार ने यह आदेश जारी किया है। इसके पूर्व मामले में विभाग ने अस्पताल अधीक्षक को पद से मुक्त करते हुए नए अस्पताल अधीक्षक की नियुक्ति कर दी थी। शिशु रोग विशेषज्ञ डॉ. कमलेश विश्वकर्मा और स्त्री रोग विशेषज्ञ मंजू एक्का को निलंबित कर दिया था।

यह था मामला
5 दिसबंर को तड़के अंबिकापुर मेडिकल कॉलेज अस्पताल के एमसीएल बिल्डिंग में संचालित एसएनआईसीयू वार्ड में 3 घंटों में 4 नवजात बच्चों की मौत हो गई थी। मौत के बाद परिजनों ने आरोप लगाया था कि लाइट बंद होने की वजह से वेंटिलेटर बंद हुआ, जिसके कारण बच्चों की मौत हो गई। इस खबर से पूरे प्रदेश में हड़कंप मच गया था। घटना के बाद अंबिकापुर पहुंचकर स्वास्थ्य मंत्री टीएस सिंहदेव और स्वास्थ्य सचिव आर.प्रसन्ना ने अंबिकापुर पहुचकर मामले की जांच के निर्देश दिए थे।

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