रविवार 15 मई को पंजाब नेशनल बैंक के छत्तीसगढ़ के कर्मचारियों के एकमात्र संगठन पीएनबीईए का त्रिवार्षिक अधिवेशन होटल कोर्टयार्ड मैरियट में सम्पन्न हुआ। इसमें सम्पूर्ण छत्तीसगढ़ से 400 से अधिक कामरेड उपस्थित थे, इसकी अध्यक्षता लुधियाना पंजाब से पधारे संगठन के महासचिव पी आर मेहता ने की। सर्वप्रथम द्वीप प्रज्ज्वलन फिर कर्मचारी आंदोलन के पुरोधा कॉम डी पी चड्ढा, कॉम परवाना, कॉम प्रभात कार को माल्यार्पण कर कार्यक्रम प्रारम्भ हुआ, विगत वर्षों में दिवंगत हुए साथियों को श्रद्धांजलि अर्पित की गई। इसके पश्चात सभी मंचासीन अतिथियों का पुष्प गुच्छ से, शॉल से सम्मान किया गया। सभा को कामरेड श्री बरपंडा, मनोज कुमार रॉय, रामन्नामूर्ति, विजय कुमार मिश्रा, शिरीष नलगुंडवार, ने संबोधित किया। अधिवेशन हेतु अपनी शुभेच्छाएँ दी, बैंक कर्मचारियों के हितों की रक्षा हेतु संगठन के योगदान की चर्चा की, बैंक में बढ़ते फ्रॉड व उनसे बचने के उपायों को बताया। कामरेड एम पी सिंह ने आल इंडिया पंजाब नेशनल बैंक फेडरेशन की महत्ता को बताया। साथ ही कर्मचारियों की हितों की रक्षा व उसके बेहतर कार्य स्थिति के लिए समझौतों को सिलसिलेवार समझाया।
कामरेड पी आर मेहता ने अपने ओजस्वी, सारगर्भित उदबोधन में वर्तमान के आर्थिक परिदृश्य, कर्मचारियों के हितों पर सरकार व प्रबंधन द्वारा किये जा रहे लगातार हमले व उससे प्रतिरक्षा हेतु संगठन द्वारा किये जा रहे अथक प्रयासों को विस्तार से समझाया, अपने नेतृत्व, संगठन के साथ खड़े रहने के फायदों को बताया श्रमगारों के विश्व भर में हुए आंदोलनों की चर्चा की व महान नेताओं के बलिदानों से आज हम आरामदायक, बेहतर वेतन व सेवा शर्तों की स्थिति में पहुंचे हैं यह बताया, सरकारों द्वारा निजीकरण के प्रयासों व उसके संभावित खतरों से आगाह किया व संगठन की ऐसे कठिन समय में क्या महत्ता है.
यह बताया, इसके बाद सभी आमंत्रित महानुभावों को बस्तर कला के स्मृति चिन्ह प्रदत्त किये गए। भोजनकाल के पश्चात महासचिव प्रतिवेदन, 2017 से 2021 तक के तुलनपत्र को सदन पटल पर रखा गया, साथ ही संगठन के संविधान में प्रस्तावित संशोधनों को रखा गया, सभी मुद्दे सर्व सम्मति से पारित किए गए, सभी को संगठन द्वारा तैयार की गई पुस्तक जिसमे कर्मचारियों के हितों के परिपत्र, बैलेंस शीट,आल इंडिया फेडरेशन द्वारा हितों की बेहतरी व रक्षा हेतु किये गए ऐतिहासिक समझौतों की जानकारी दी गई है, यह संकल्प भी लिये गए कि सरकार की जन नीतियों का विरोध, बैंकिंग सेक्टर में विनिवेश, आउट सोर्सिंग, रिफॉर्म्स का विरोध,स्टाफ बढ़ाने, सेवा शर्तों के सुधार हेतु प्रयत्न लगातार व पुरजोर तरीक़े से जारी रहेंगे, इसके बाद अंत मे महासचिव द्वारा अगली कार्यकारिणी के गठन हेतु सभी पदों के लिए कामरेड्स के नामों का पैनल रखा गया, कोई और पैनल सामने न आने के कारण सर्व सम्मति से इसी पैनल को संगठन चलाने की जिम्मेदारी प्रदान की गई, महासचिव कॉम पी के दास पुनः चुने गए।
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