नेशनल सिक्योरिटीज डिपॉजिटरी लिमिटेड (NSDL) वेबसाइट की एंट्री में एक त्रुटि के सुधार करने के बाद अडानी समूह की फर्मों के शेयर बाजार में बुधवार की दोपहर कमजोर मुंबई बाजार में उछाल देखने को मिला. इस त्रुटि की वजह से पिछले महीने अडानी समूह के शेयरों की कीमत को लेकर शेयर बाजार में भ्रम और अस्थिरता पैदा हो गई थी.
एनएसडीएल वेबसाइट में परिवर्तन के मुताबिक, तीन FPI यानी फॉरेन पोर्टफोलियो इन्वेस्टर्स के डीमैट अकाउंट्स फ्रीज किए गए थे, जिनमें Albula Investment Fund, Cresta Fund और APMS Investment Fund शामिल हैं. जिसका ग्लोबल डिपॉजिटरी रिसीट (GDR) जारी करने के मामले से संबंध था, उन्हें फ्रीज किया गया था. पिछले महीने, NSDL की तरफ से एफपीआई को फ्रीज करने की रिपोर्ट पर निवेशकों को 2 लाख करोड़ रुपये से अधिक का नुकसान हुआ.
NSDL यानी नेशनल सिक्योरिटीज डिपॉजिटरी लिमिटेड की तरफ से यह स्पष्टीकरण बाजार नियामक, भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (Sebi) के उस अनुरोध के बाद आया है, जिसमें कथित तौर पर विदेशी पोर्टफोलियो निवेशकों (एफपीआई) के संरक्षकों से छह अडानी समूह के शेयरों के अंतिम लाभकारी मालिकों (यूबीओ) के बारे में जानकारी मांगी थी.
सेबी की तरफ से यह एक्शन पश्चिम बंगाल से लोकसभा सदस्य महुआ मोईत्रा की ओर से केन्द्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण को लिखे गए पत्र के बाद किया गया है, जिसमें अडानी समूह की कंपनियों के महत्वपूर्ण विदेशी पोर्टफोलियो निवेश (एफपीआई) की जांच का अनुरोध किया था. इससे पहले, 10 जुलाई को केन्द्रीय वित्त राज्य मंत्री पंकज चौधरी ने संसद में कहा था कि देश के बाजार नियामक और सीमा शुल्क प्राधिकरण नियमों के उल्लंघन के लिए कुछ अदानी समूह की कंपनियों की छानबीन कर रहे हैं.
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