असम मंत्रिमंडल ने सेना और केंद्रीय अर्धसैनिक बलों में ड्यूटी के दौरान प्राण गंवाने वाले राज्य के जवानों के परिजनों को दी जाने वाली वित्तीय सहायता बढ़ाने का फैसला किया गया. असम के जल संसाधन मंत्री पीयूष हजारिका ने बताया कि मुख्यमंत्री हिमंत बिस्व सरमा की अध्यक्षता में मंत्रिमंडल की हुई बैठक में शहीद जवानों के परिजनों को दी जाने वाली अनुग्रह राशि को मौजूदा 20 लाख रुपये से बढ़ाकर 50 लाख रुपये करने के प्रस्ताव को मंजूरी दी गई.
50 लाख रुपये हुई शहीद जवानों के परिजनों के लिए अनुग्रह राशि
उन्होंने संवाददाताओं से बातचीत में कहा गया कि इसके साथ ही राज्य के भीतर और बाहर उग्रवादी संबंधी घटनाओं, वाम चरमपंथी विरोधी अभियान, आपदा प्रबंधन और राज्य के दुश्मनों के खिलाफ लड़ने के दौरान प्राण गंवाने के मामलों को भी अनुग्रह राशि के दायरे में लाया गया है. हजारिका ने कहा कि 50 लाख रुपये की अनुग्रह राशि उन पुलिस कर्मियों, होम गार्ड, ग्राम रक्षा दल स्वयंसेवकों के परिजनों को भी दी जाएगी जो समान परिस्थितियों में प्राण गंवाते हैं.
आबकारी नियम में भी हुआ संशोधन
वहीं कैबिनेट ने सरकारी राजस्व बढ़ाने के लिए असम आबकारी नियम में संशोधन करने का भी फैसला किया. राजस्व के नुकसान को कम करने के लिए निर्माताओं और डिस्टिलरी स्तर पर मास फ्लो मीटर, रडार-आधारित स्तर ट्रांसमीटर, सेंसर-आधारित इलेक्ट्रॉनिक बोतल काउंटर और प्रोग्रामेबल लॉजिक कंट्रोलर जैसे इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों को स्थापित करने का निर्णय लिया गया.
उन्होंने कहा कि पड़ोसी राज्यों विशेषकर अरुणाचल प्रदेश से शराब की तस्करी को रोकने के लिए ट्रांजिट पास प्रणाली शुरू की जाएगी. वहीं बाजार में देशी शराब की खपत को बढ़ाने के लिए IMFL और देशी शराब की खुदरा बिक्री की सीमा 9 बल्क लीटर (BL) से बढ़ाकर 18 BL, और मौजूदा 4.5 BL से 9 BL कर दी गई है.
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