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आज पापांकुशा एकदशी व्रत : करें भगवान विष्णु की पूजा, मिलेगी पाप से मुक्ति

आज आश्विन शुक्ल एकादशी तिथि, शतभिषा नक्षत्र, व्रुद्धी योग, विष्टि करण, बुधवार दिन और उत्तर दिशाशूल है. आज पापांकुशा एकदशी व्रत है. आज सुबह से रवि योग है, लेकिन पंचक और भद्रा भी है. रवि योग सुबह 06:28 बजे से शुरू है, साथ ही भद्रा भी लग रही है. भद्रा में मांगलिक कार्यों को करना ​वर्जित है. पापांकुशा एकादशी को भगवान विष्णु की पूजा करते हैं, उनकी कृपा से जाने और अनजाने में किए गए पाप से मुक्ति मिल सकती है. भगवान विष्णु की कृपा से मोक्ष की प्राप्ति होती है. पापांकुशा एकदशी व्रत की पूजा आप सूर्योदय के बाद रवि योग में करें. इस व्रत का पारण 26 अक्टूबर को सुबह 06:28 बजे से सुबह 08:43 बजे के मध्य किया जा सकता है.

आज दुर्गा मूर्तियों का विसर्जन होगा क्योंकि दशहरा को मंगलवार दिन था. मंगलवार को देवी को विदा नहीं करते हैं. आज विधि विधान से दुर्गा मूर्तियों का विसर्जन करते हैं और मां दुर्गा को अगले साल ​फिर आने को कहते हैं. बुधवार को ​शिव-शक्ति पुत्र गणेश जी की पूजा करें. उनको मोदक, दूर्वा, सिंदूर, लाल फूल या गेंदे का फूल, अक्षत्, हल्दी आदि अर्पित करें. गणेश पूजा में तुलसी का उपयोग न करें. आज बुध के बीज मंत्र का
जाप करें. हरा चारा, हरी मूंग, हरे वस्त्र, कांसा आदि दान करें. इससे बुध दोष दूर होगा. बुध ग्रह के मजबूत होने से करियर में तरक्की होगी. वाणी का प्रभाव बढ़ेगा. वैदिक पंचांग से जानते हैं आज का मुहूर्त, रवि योग, भद्रा समय, पंचक, सूर्योदय, चंद्रोदय, राहुकाल, दिशाशूल आदि.

 

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