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सकट चौथ कब है ? जानें शुभ मुहूर्त और सकट चतुर्थी का महत्व

सकट चतुर्थी का पर्व भगवान गणेश जी को समर्पित है. सकट का अर्थ यहां पर संकट से है. सकट पर भगवान गणेश जी की विधि पूर्वक पूजा करने से जीवन में आने वाले समस्त प्रकार के कष्टों को दूर करने में मदद मिलती है.

सकट चतुर्थी पर तिल और गुड से बनी चीजों का खाने की परंपरा है.इसीलिए इसे तिलकुटा भी कहते हैं. हिंद भाषी राज्यों में सकट चतुर्थी का पर्व बड़े ही भक्तिभाव से मनाया जाता है. जनवरी माह में सकट का पर्व कब पड़ रहा है? आइए जानते हैं-

सकट चौथ का पर्व पंचांग के अनुसार 31 जनवरी 2021 को मनाया जाएगा. इस दिन चन्द्रोदय का समय रात्रि 08 बजकर 27 मिनट है. यदि चतुर्थी तिथि की प्रारंभ की बात करें तो ये चतुर्थी तिथि 31 जनवरी 2021 को रात्रि 08 बजकर 24 मिनट से आरंभ होगी और इस तिथि का समापन 1 फरवरी 2021 को शाम 06 बजकर 24 मिनट पर होगा.

सकट चौथ पर मां अपने बच्चों के लिए व्रत रखती है. ऐसा माना जाता है कि जो बच्चों को गंभीर रोग से पीड़ित होते हैं, उनके लिए यदि मां इस दिन व्रत रखें तो लाभ मिलता है. वहीं यह व्रत बच्चों को बुरी नजर से भी बचाता है. इसके साथ ही जो मां अपने बच्चों के लिए इस दिन व्रत रखती हैं वे बच्चे जीवन में कई तरह के संकटों से दूर रहते हैं.

सकट चौथ का व्रत जीवन में सुख समृद्धि लाता है. वहीं इस व्रत को संतान के लिए श्रेष्ठ माना गया है. मां द्वारा रखा जाने वाला यह व्रत बच्चों की शिक्षा में आने वाली बाधा को भी दूर करने वाला माना गया है. संतान पर भगवान गणेश की कृपा और आर्शीवाद बना रहता है. इस दिन मां अपने बच्चों के लिए निर्जला व्रत भी रखती हैं. इस दिन भगवान गणेश को तिल, गुड, गन्ना और तिल का भोग लगाया जाता है.

सकट चौथ पर मिट्टी से गणेश जी बनाएं और पूजा करें. इस दिन गणेश जी को पीले वस्त्र पहनाएं. शाम को चंद्रमा को जल देकर व्रत समाप्त करें. तिल और गुड़ का भोग लगाएं. प्रसाद में  गुड़ और तिल दें.

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